प्रधानमंत्री ली की पार्टी जीती; विपक्षी वर्कर्स पार्टी को 10 सीटें मिलीं, भारतवंशी प्रीतम संसद में विपक्ष के नेता होंगे

कोरोना के बीच हुए चुनाव में सिंगापुर की सत्तारुढ़ पीपुल्स एक्शन पार्टी (पीएपी) ने जीत हासिल की। प्रधानमंत्री ली सेन लूंग की पार्टी ने 93 में से 83 सीटें जीतीं। नतीजों के ऐलान के बाद लूंग ने कहा, ‘‘मैं महामारी से निपटने और इकोनॉमी सुधारने में इस जनादेश का इस्तेमाल करुंगा। सिंगापुर के लोगों ने मुझपर और पार्टी पर भरोसा किया, इस पर मुझे गर्व है।’’
विपक्षी वकर्स पार्टी ने 10 सीटों पर जीत हासिल की। यह देश में अब तक किसी भी पार्टी की ओर से हासिल की गई सबसे ज्यादा सीटें हैं।पार्टी ने यह चुनाव जनरल सेक्रेटरी प्रीतम सिंह की अगुवाई में लड़ा था। प्रीतम अब संसद में विपक्ष के नेता होंगे। उनकी पार्टी को 2015 की तुलना में चार सीटें ज्यादा मिली हैं।
पीएपी 1965 से ही सत्ता में है
पीएपी यहां पर 1965 से ही सत्ता में है। इस बार इसे 61.24 फीसदी वोट हासिल हुए। यह2015 में हुए चुनावों की तुलना में 8.7 फीसदी कम है। पिछले चुनावों में प्रधानमंत्री लूंग की पार्टी को 69.9 फीसदी वोट मिले थे। ली सेन लूंग 2004 से सिंगापुर के प्रधानमंत्री है। ली सिंगापुर की स्थापना करने वाले ली कुआन यू के बेटे हैं।
11पार्टियां मैदान में थीं
पीपुल्स एक्शन पार्टी (पीएपी) समेत 11 पार्टियां चुनाव में उतरी थी। पीएपी ने इस चुनाव में किसी भी भारतीय मूल के उम्मीदवार को टिकट नहीं दिया था। हालांकि, विपक्षी पार्टियों ने12 ऐसे उम्मीदवारों को मैदान में उतारा था। पिछले 9 दिनों से चुनाव प्रचार चल रहा था। सरकार ने प्रचार के दौरान रैली निकालने और सार्वजनिक सभा करने पर पाबंदी लगाई थी।
वोटिंग के दौरान सुरक्षा का ध्यान रखा गया
संसदीय चुनाव के लिए वोटिंग शुक्रवार को हुई थी। इस दौरान सुरक्षा उपायों का ध्यान रखा गया था। लोगमतदान केंद्रों पर मुंह पर मास्कऔर हाथ में ग्लव्स पहनकर वोटिंग करने पहुंचे थे। वोटिंग सुबह आठ बजे शुरू हुई। पहले रात आठ बजे तक वोटिंग होनी थी, लेकिन बाद में इसका समय दो घंटे बढ़ा दिया गया था।
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